फेस2न्यूज /चंडीगढ़ :
जाट सभा चंडीगढ़-पंचकूला द्वारा भाखड़ा बांध नंगल एवं संग्रहालय में किसान मसीहा सर छोटू राम की प्रतिमा लगाने की मांग को लेकर लंबे समय से उठ रही आवाज को बड़ी सफलता मिली है। इस संबंध में भाखड़ा ब्यास प्रबंध बोर्ड ( बीबीएमबी) ने भाखड़ा बांध नंगल में बने संग्रहालय में सर छोटूराम की प्रतिमा लगाने के लिए आवश्यक कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं। ये जानकारी जाट सभा के कार्यालय सचिव , प्रेम सिंह ने दी।
जाट सभा के अध्यक्ष डॉ एमएस मलिक ( पूर्व डीजीपी , हरियाणा पुलिस) ने बताया कि सर छोटू राम ने किसानों के हितों के लिए आजीवन संघर्ष किया और भाखड़ा बांध परियोजना की नींव रखने में उनका महत्वपूर्ण योगदान रहा है।
उन्होंने बताया कि 1930 के दशक में सर छोटू राम ने तत्कालीन ब्रिटिश सरकार और इंजीनियरों के समक्ष भाखड़ा बांध परियोजना का खाका पेश किया था। इसी आधार पर बाद में यह ऐतिहासिक परियोजना साकार हुई, जिसने देश की कृषि व्यवस्था, हरित क्रांति और किसानों की आर्थिक प्रगति में निर्णायक भूमिका निभाई।
जाट सभा की ओर से भारत के तत्कालीन राष्ट्रपति , प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी, हरियाणा के सांसदों , केंद्रीय वित्त मंत्रियों तथा तत्कालीन मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल को ज्ञापन भेजकर मांग उठाई थी कि भाखड़ा बांध तथा वहां बने संग्रहालय में सर छोटू राम जैसे महान व्यक्तित्व की प्रतिमा लगाई जाए, जिन्होंने इस परियोजना को वास्तविक रूप देने में अहम भूमिका निभाई थी।
पूर्व केंद्रीय मंत्री स्वर्गीय रतन लाल कटारिया का विशेष योगदान रहा है , उन्होंने संसद में पुरजोर मांग उठाई थी कि भाखड़ा बांध तथा संग्रहालय में सर छोटू राम की प्रतिमा लगाई जाए ताकि अगली पीढ़ी को किसानों के मसीहा सर छोटू राम के योगदान से अवगत कराया जाए।
डॉ मलिक ने बताया कि अब भाखड़ा ब्यास प्रबंधन बोर्ड (बी बी एम बी ), चंडीगढ़ ने एक आधिकारिक पत्र जारी कर भाखड़ा बांध, नंगल के मुख्य अभियंता को निर्देश दिए हैं कि नंगल स्थित भाखड़ा बांध संग्रहालय में सर छोटू राम की प्रतिमा लगाई जाए।
जाट सभा के पदाधिकारियों ने भाखड़ा ब्यास प्रबंधन बोर्ड के इस निर्णय का स्वागत करते हुए कहा कि यह किसानों और हरियाणा प्रदेश के लिए गर्व का विषय है। उन्होंने उम्मीद जताई कि प्रतिमा स्थापना से आने वाली पीढ़ियां सर छोटू राम के जीवन से प्रेरणा ले सकेंगी।