चंडीगढ, फेस2न्यूज:
पश्चिमी कमान 1971 के भारत-पाक युद्ध में पाकिस्तान पर भारत की शानदार जीत के 51 साल पूरे होने का जश्न मना रहा है। जबकि प्रमुख ऑपरेशन पूर्वी मोर्चे पर केंद्रित थे और जिसके फलस्वरूप बांग्लादेश अस्तित्व में आया। जम्मू-कश्मीर की धरती पर पश्चिमी मोर्चे पर कई उत्साहपूर्ण और साहसिक युद्ध भी लड़े गए, जिनमें हमारे बहादुर सैनिकों ने अपने प्राणों की आहुति देकर गौरव हासिल किया। 1971 के युद्ध में दिए गए चार परमवीर चक्रों में से दो पश्चिमी मोर्चे में डटे हमारे वीर योद्धाओं को दिए गए थे, जो कि साहस के परिचायक थे। उल्लेखनीय है कि 1971 के भारत-पाक युद्ध में भारत की जीत के 51 साल पूरे होने के उपलक्ष्य में विजय दिवस समारोह इस वर्ष दो आइकॉनिक स्थानों यानी जम्मू में एतिहासिक युद्ध स्मारक 'बलिदान स्तंभ' और चंडीमंदिर मिलिट्री स्टेशन पर आयोजित किया गया। 1971 के युद्ध में राष्ट्र की सेवा में सर्वोच्च बलिदान देने वाले वीर सैनिकों को श्रद्धांजलि दी गई।
स्मरणोत्सव के हिस्से के रूप में, 16 दिसंबर, 2022 को 'बलिदान स्तंभ' में आयोजित एक युद्ध स्मारक सेवा के दौरान लेफ्टिनेंट जनरल नव के खंडूरी, एवीएसएम, वीएसएम, जनरल ऑफिसर कमांडिंग-इन-चीफ पश्चिमी कमान ने युद्ध स्मारक की शाश्वत ज्योति पर पुष्पचक्र अरपण किया और शहीद हुए युद्ध नायकों को श्रद्धांजलि दी। इस अवसर पर ऑनरेरी कैप्टन बाना सिंह परमवीर चक्र; स्वर्गीय मेजर मोहित शर्मा, अशोक चक्र (पी) की पत्नी लेफ्टिनेंट कर्नल रिश्मा सरीन, और अन्य नागरिक तथा सैन्य गणमान्य व्यक्ति भी उपस्थित थे। जम्मू के विभिन्न स्कूलों के छात्रों ने विजय दिवस को समर्पित देशभक्ति के गीतों की प्रस्तुति दी। मधुर गीतों को विभिन्न धर्मों के धार्मिक शिक्षकों द्वारा मंत्रोच्चारण के साथ सुंदरता से सजाया गया था। 1971 के युद्ध से संबंधित वीर नारियों, वीरता पुरस्कार विजेताओं और दिग्गजों को भी इस अवसर पर सम्मानित किया गया। पश्चिमी कमान के जनरल ऑफिसर कमांडिंग-इन-चीफ ने पूर्व सैनिकों और वीर नारियों के प्रति आभार व्यक्त किया और उनके कल्याण को सुनिश्चित करने में भारतीय सेना के सहयोग का आश्वासन दिया। समारोह का समापन जम्मू और पंजाब क्षेत्र के विशिष्ट कलाकारों द्वारा 1971 के युद्ध नायकों पर आधारित एक सांस्कृतिक संध्या और लाइट एंड साउंड शो के साथ हुआ।
चंडीमंदिर मिलिट्री स्टेशन में भी एक युद्ध स्मारक सेवा का आयोजन किया गया, जहां कार्यवाहक चीफ ऑफ स्टाफ, मेजर जनरल जीएस काहलों, एसएम ने 1971 में ऑपरेशन विजय के दौरान शहीद हुए युद्ध नायकों की वीरता को याद करने के लिए 'वीर स्मृति' पर पुष्पांजलि अर्पित कर श्रद्धांजलि दी। इस समारोह के साथ ही वर्ष भर चलने वाले स्वर्णिम विजय वर्षा का समापन हुआ, जो 1971 में पाकिस्तान पर भारत की विजय और बांग्लादेश के अस्तित्व की स्मृति में मनाया गया था।